स्ट्रेंजर श्वेता की चुदाई

हाय फ्रेंड्स थिज इज दबंग. मेरी उमर 30 साल है, मैं पुणे में रहता हूं. और मेरी बॉडी सामान्य है. कोई आंटी और लड़की को सीक्रेट इन रिलेशनशिप चाहिए तो मैं हमेशा तैयार हूं. यह एक साल पहले की बात है. जब मैं अपने अंकल के यहां ट्रेन से जा रहा था वह भोपाल में रहते थे मेरा रिजर्वेशन दौंड से था. तब ठंडी के दिन चालू थे. उस दिन ट्रेन लेट हो गयी थी, और मैं उसका इंतजार कर रहा था. और तब भीड़ भी इतनी नहीं थी. और ट्रेन आई और मैं उस में बैठ गया मेरा एस २ का रिजर्वेशन था और मुझे विंडो सीट मिली थी. मैंने लंच किया और सो गया. जैसे ही मनमाड स्टेशन आया वहां से एक लेडी ट्रेन में चढ़ी जिसके साथ एक बच्ची थी जिसकी उम्र 6 साल थी और वह मेरे साइड में आकर बैठ गयी. थोड़ा उसके बारे में बता दूं.

वह एक 32 साल की उम्र की लेडी थी. जो दिल्ली में जॉब करती थी और मनमाड़ में अपने मायके आई थी. और रिटर्न जा रही थी. उसका फिगर 33-32-28 था. मुझे बहुत अच्छा लगा कोई तो साथ आकर बैठ गया, और वह भी एक सेक्सी और कमसिन औरत मैं तो देखकर ही पागल हो गया था लेकिन मैंने खुद पर कंट्रोल किया.

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उसने अपनी बेटी को खाना खिलाया और मेरे सामने आ के बैठ गयी. मेरे पास चॉकलेट था तो मैंने बच्ची को दिया और उस लेडी से बात करने लगा. उसने बताया वह दिल्ली से है और उसका नाम श्वेता है थोड़ी ही देर में हम अच्छे से घुल मिल गए.

ऐसे ही शाम होने लगी उसने बच्ची को खाना खिलाया और उसे अच्छे से सुलाकर मेरी साइड आकर बैठ गई और बातें करने लगी उसने मुझे पूछा की आपकी कोई गर्लफ्रेंड है क्या? मैंने कहा नहीं उसने कहा ओके.

मुझे नींद नहीं आ रही थी पर उसे भी तो मैंने लैपटॉप निकाला और मूवीस स्टार्ट कर दी ठंड का सीजन होने से उसने चादर ओढ़ लिया उसने कहा आप भी लो नाऔर मुझे भी मूवीस देखना है अगर आपको कोई दिक्कत ना हो तो मैंने कहा ओके

और अब हम एक चादर में थे और लैपटॉप सामने रखकर मूवी देख रहे थे ठंडी की वजह से वह खिसक कर बैठी थी मेरा लंड धीरे धीरे खड़ा हो रहा था और उसकी गर्मी मुझे महसूस हो रही थी.

पर मैं पहल नहीं करना चाहता था मैं उसके शुरू होने का इंतजार कर रहा थाआखिरकार उसने अपना हाथ मेरे हाथ पर रखा और रब करने लगी मैंने उसकी तरफ देखा तो उसने मुझे एक सेक्सी स्माइल दी.

तो फिर क्या था मैंने अपना हाथ उसी से उसके बूब्स पर रख दिया और दबाने लग गया. वह मौन कर रही थी अह्ह्ह अमम्म अहह्ह्ह अह्हह मम्म येस्स्स्स अह्हह्ह. उसने मुझे रोका और कहा पहले कोच में देख आओ कि कोई जाग तो नहीं रहा ना? मैं पूरा कोच देख आया. सात आठ लोग थे जो सो रहे थे और चारों दरवाजे लोक कर दिए और वापस आया और उस पर टूट पड़ा, वह बहुत ज्यादा रिस्पांस कर रही थी.

मानो सालों से सेक्स की प्यासी हो. वह मेरी बॉडी को काट रही थी उसके नाखून मेरे पीठ पर चुभा रही थी वह मेरे लिए नया था लेकिन एडवेंचरस था. मैं फुल जोश में था मैंने अपना लोअर और अंडर वियर निकाल दिया और लंड उसके हाथ में दिया और उसका ब्लाउस एंड ब्रा निकाल के बूब्स चूसने लगा.

वह आहाह माम्म अहहह औऔऔउ औम्म्म अहहह येस्स्स्स अह्ह्ह आवाज निकाल रही थी मेरा 6 इंच का लंड पुरा तन गया था, वह उसे सहला रही थी. वह अचानक से नीचे बैठी और लंड मुंह में ले गई, और मैं तो सातवें आसमान में था क्योंकि मैंने आज तक अपना लंड नहीं चुसवाया था. वह भूखी शेरनी की तरह लंड चूस रही थी, मैं बहुत जोश में था.

हर 15 मिनट के बाद मैं गया उसके मुह में. उसने मुंह में लेकर थूक दिया और साइड में आई. मैंने उसके साड़ी ऊपर की और पेंटी निकाल फेंकी और चूत पर हाथ फेरने लगा उसने बोला प्लीज एक बार चाटो ना चूत को उसके पति ने कभी ऐसा नहीं किया था और उसको भी किसी का लंड आज तक नही चुसा था.

तो मैंने सोचा ट्राई कर लेते हैं. उसकी चूत क्लीन शेव्ड और पिंक रोज की तरह गुलाबी थी. उसकी महक मुझे पागल कर रही थी, मैंने चाटना शुरू किया. वह मेरे बालों में से हाथ घुमा रही थी मैं पहली बार किसी लड़की की चूत चाट रहा था.

20 मिनट बाद वह जड गई. वह मेरे मुंह में झड़ गई मैंने मुंह में लेकर थूक दिया. उसने मेरा मुंह साफ करके मुझे जोर से पकड़ कर स्मूच किया और लेट गई. मैंने उसके पैर फैलाए और लंड उसकी चूत पर रखा. उसने कहा थोड़ा आराम से करो वह बहुत दिनों से चूदी नहीं थी और उसकी चूत पूरी टाइट थी. मगर मुझ पर भुत सवार था.

मैंने एक ही झटके में अंदर घुसा दिया और दूसरी झटके में चूत की गहराई में घुसा दिया, वह तड़प रही थी और छोड़ो और नही प्लीज थोड़ा धीरे करो आह्ह हहह मम्म उम्म्म येस्स अह्ह्ह्ह. थोड़ी टाइम रुक के मैने चोदना स्टार्ट किया वह अब पूरा एंजॉय कर रही थी. वह अब उछल उछल कर मुझे रिस्पांस कर रही थी. 25 मिनट के बाद मैं जड गया और वो अब तक तीन बार जड चुकी थी.

तब तक रात के 3:00 बज चुके थे मेरा स्टेशन आने को आधा घंटा ही बचा था. उसने रिक्वेस्ट किया है एक बार और करना हे मैंने कहा ठीक है उसने मेरा लंड चूस कर खड़ा किया, और वह मेरे ऊपर आकर मेरे लंड पर बैठ गई और चुदने लगी मैं भी नीचे से चोद रहा था 20 मिनट बाद में जड गया और उसकी चूत में छोड़ दिया, वह बहुत खुश हुई.

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उसके बाद मैंने और उसने कपड़े ठीक किए. उसकी पैंटी नहीं मिल रही थी तो मुझे याद आया कि मैंने जल्दबाजी में विंडो के बाहर फेंक दी थी. उसने कुछ नहीं बोला और सब ठीक करके मेरे पास आकर बैठ गई. और एक लॉन्ग किस की. मैंने बूब्स दबाया तब तक ट्रेन भोपाल आ चुकी थी उसने मेरा नंबर लिया और मैं बाय बोलकर ट्रेन से उतर गया.

हमारे बीच अभी भी चैट होती है, उस टाइम के बाद तीन चार बार दिल्ली जाकर मैंने उसे चोदा हे.